10 दिन तक चलाया गया जिले में अभियान, 163 टीमें रहीं शामिल
11 नोडल अफसर व 33 सुपरवाइजर रहे अभियान में शामिल
Meerut। सक्रिय क्षय रोगी अभियान के तहत टीबी विभाग ने छिपे हुए 258 नए मरीजों को खोज निकाला है। सरकार के 2025 तक टीबी मुक्त भारत के सपने को पूरा करने के लिए जिले में 10 दिन तक यह अभियान चलाया गया था। पोलियो की तर्ज पर टीबी का नामो-निशान मिटाने के तर्ज पर विभाग की टीमों ने डोर-टू-डोर जाकर सर्वे किया और टीबी रोगियों की पहचान की। अभियान के दौरान मिले मरीजों की जांच से लेकर दवाई देने तक का काम अब विभाग की ओर से ही किया जाएगा।
यह रही स्थिति
474696 लोगों पर विभाग ने सर्वे किया।
474475 लोगों की स्क्रीनिंग सर्वे के दौरान की गई।
2196 स्पूटम टीबी के लक्षण के संदेह के चलते जमा किए।
193 मरीजों में जांच के आधार पर टीबी पाया गया।
65 केस एक्सरे जांच के बाद पाए गए।
258 कुल केस पाए गए।
11 नोडल अफसर अभियान में शामिल रहे।
33 सुपरवाइजर शामिल हुए।
163 टीमें इस अभियान में जुटी।
88 मोहल्लों में सर्वे किया गया।
87451 घरों का सर्वे हुआ।
40 डीएमसी जनपद में हैं, जहां बलगम की जांच होती है।
1 लाख आबादी पर एक डीएमसी है।
18 ट्रीटमेंट यूनिट हैं।
900 डॉट सेंटर हैं।
ये है मरीजों की स्थिति
2018- 7928
2017 - 6898
2016- 6698
2015- 6536
2014- 6302
2013- 6349
ये हैं टीबी के लक्ष्ण
दो सप्ताह से अधिक खांसी
बुखार
रात को पसीना आना
बलगम आना व बलगम के साथ खून भी आना
वजन कम होना
भूख कम लगना
टीबी को जड़ से खत्म करने के लिए सरकार लगातार कोशिश कर रही है। सर्वे में नए रोगी मिले हैं, जिनका इलाज अब विभाग ही कराएगा।
डॉ। एमएस फौजदार, जिला टीबी अधिकारी, मेरठ