-शिक्षकों और अनुदेशकों के 25 नए पद किए गए सृजित

क्कन्ञ्जहृन्: राज्य सरकार प्रदेश के एकमात्र सरकारी डेंटल कॉलेज पटना डेंटल कॉलेज में स्नातकोत्तर की पढ़ाई शुरू करने की प्रक्रिया तेज कर दी है। इसके लिए शिक्षकों और अनुदेशकों के 25 नए पद सृजित किए गए हैं। नए पदों के वेतन और भत्ते के लिए राशि भी स्वीकृत की गई है। डीसीआइ के पास पीजी की पढ़ाई का प्रस्ताव जल्द ही भेजा जाएगा।

हर साल होती है परेशानी

प्रदेश का एकलौता सरकारी डेंटल कॉलेज होने के बाद भी पटना डेंटल कॉलेज सरकारी उपेक्षा का शिकार है। इस वजह से कॉलेज की शैक्षणिक और आधारभूत संरचना की स्थिति खराब होती चली गई। डेंटल काउंसिल ऑफ इंडिया के शिक्षकों एवं आधारभूत संरचना के निर्धारित मानक पूरा नहीं करने के कारण हर साल कॉलेज की मान्यता और नामांकन को लेकर संकट उत्पन्न हो जाता है। यह सिलसिला वर्षो से जारी है.डीसीआइ द्वारा मानक पूरा नहीं करने पर 2014 और 2015 में कॉलेज को नामांकन की अनुमति नहीं मिली थी।

1988 के बाद नहीं मिले टीचर

कॉलेज में लेक्चरर के 14, रीडर के 12 और प्रोफेसर के 6 पद हैं। शिक्षक सेवानिवृत होते गए लेकिन नई नियुक्तिनहीं की गई। 1988 के बाद कॉलेज को एक भी स्थाई शिक्षक नहीं मिले। शिक्षकों की कमी से नए कोर्स और पीजी पढ़ाई शुरू नहीं हो पा रही है। बिहार सरकार ने पीजी की पढ़ाई शुरू करने के लिए शिक्षकों व अनुदेशकों के 25 नए पद स्वीकृत की गई है। सरकार ने वेतन व भत्ते के भुगतान के लिए 2 करोड़ 28 लाख रुपए मंजूर की है.पद सृजन के बाद सरकार डीसीआइ के पास कॉलेज में पीजी की पढ़ाई शुरू करने का प्रस्ताव भेजेगी।