कांग्रेस प्रेसिडेंट सोनिया गांधी के सन इन लॉ रॉबर्ट वाड्रा और कुछ सीनियर ऑफीशियल्स का नाम इकोनॉमी क्लास के टिकट पर जेट एयरवेज के बिजनेस क्लास में ट्रैवल करने के मामले में सामने आया है. इंवेस्टिगेटिव मैग्जीन ‘तहलका’ के अकॉर्डिंग कम से कम दस बार वाड्रा का टिकट इकोनॉमी क्लास से बिजनेस क्लास में अपग्रेड किया गया. नॉमर्ली ऐसा कराने के लिए एक करोड़ रुपये खर्च करने होते, लेकिन वाड्रा को कोई पैसा नहीं देना पड़ा. वैसे इस लिस्ट में वाड्रा ही नहीं, फॉरमर सेंट्रल मिनिस्टर कमलनाथ और फॉरमर सिविल एवियेशन मिनिस्टर अजित सिंह के नाम भी शामिल हैं जिनकी की सिफारिश पर कई लोगों के टिकट अपग्रेड किए गए. पॉलिटिकल के अलावा एयरपोर्ट अथॉरिटी और एवियेशन जुड़े ऑफीशियल्स ने भी अपने और फेमिली के लिए खूब टिकट अपग्रेड कराए. इस मामले में एक साल पहले ही सीबीआइ ने इंवेस्टिगेशन स्टार्ट कर दी है.  बहरहाल सभी ऑफीसर्स ने अपने ऊपर लगाए गए एलिगेशंस से डिनॉय किया है. तहलका की प्रेस कांफ्रेंस में मौजूद इंटक के वाइस प्रेसिडेंट जगदीश शर्मा ने इस मामले में वाड्रा का नाम लेने पर प्रेस कांफ्रेंस में ही आब्जेशक्शन किया था. Vadra in problem

बताया गया है कि रॉबर्ट वाड्रा के इकोनॉमी क्लास के दिल्ली से लंदन और फिर दिल्ली के टिकट को आठ बार बिजनेस क्लास में अपग्रेड किया गया. दिल्ली से लंदन तक की जर्नी का इकोनॉमी क्लास का फेयर 78 हजार 90 रुपये है. वहीं बिजनेस क्लास में ट्रैवल करने के लिए 3 लाख 9 हजार 560 रुपये का पेमेंट करना होता है. कई मौकों पर वाड्रा और उनके फ्रेंड मनोज अरोड़ा के टिकट को बिजनेस क्लास में अपग्रेड कर दिया गया. इस बारे में वाड्रा ने कहा है कि यह फेवर उनको मिल सकता है, क्योंकि वे गवरमेंट पोस्ट पर नहीं हैं. इस बारे जो भी गलत किया है वो गवरमेंट ऑफीशियल्स ने किया है तो एक्शन भी उन्हीं के अगेंस्ट होना चाहिए.

वहीं जेट एयरवेज ने वीआइपीज को फ्री टिकट देने के मामले में तहलका के एलिगेशंस को गलत और बेसलेस डिक्लेयर कर दिया है. एयरलाइंस का कहना है कि ऐसा इस बिजनेस की फील्ड में वर्ल्ड वाइड होता है. ट्रैवल, टूरिज्म और सर्विस एरिया में सर्विस प्रोवाइडर रहने पर टूरिस्ट को अपग्रेड की फेसिलिटी दी जाती है. ऐसा करने वाली इस फील्ड में वह अकेली एयरलाइंस नहीं है.

Hindi News from India News Desk

National News inextlive from India News Desk