क्त्रन्हृष्ट॥छ्वढ्ढ: स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट को धरातल पर उतारने के उद्देश्य से पूर्वी व मध्य भारत के लिए रांची में दो दिवसीय चौथे इंप्लीमेंटेशन वर्कशॉप की शुरुआत हुई। इसमें 17 स्मार्ट सिटी के सीईओ से लेकर केंद्र सरकार के अधिकारी व एक्सपर्ट भी शामिल हो रहे हैं, जो यहां प्रोजेक्ट से जुड़े अनुभव एक-दूसरे से शेयर कर विकास कार्यो को गति देने में मदद करेंगे। होटल बीएनआर में चल रहे वर्कशॉप में रांची समेत पटना, बिहार शरीफ , मुजफ्फ रपुर, भागलपुर, राउरकेला , भुवनेश्वर, रायपुर, बिलासपुर, नया रायपुर, सतना, सागर, उज्जैन, ग्वालियर , भोपाल , इंदौर के मुख्य कार्यकारी पदाधिकारी व एक्सप‌र्ट्स शिरकत कर रहे हैं।

46 हजार करोड़ का कार्य आवंटन

वर्कशॉप के उद्घाटन के मौके पर मिनिस्ट्री ऑफ हाउसिंग एंड अर्बन अफेयर्स के स्मार्ट सिटी मिशन निदेशक राहुल कपूर ने बताया कि यह 100 शहर देश के अन्य शहरों के लिए रोल मॉडल का काम करेंगे। फ‌र्स्ट व सेकेंड फेज में चयनित शहरों की अधिकतर योजनाएं धरातल पर दिखने लगी हैं। अब थर्ड व फोर्थ फेज में चयनित शहरों में योजनाओं को गति देने का प्रयास किया जा रहा है। अर्बन इंफ्रास्ट्रक्चर के साथ-साथ विभिन्न क्षेत्रों में नई तकनीक का प्रयोग कर हम शहरों को स्मार्ट बनाने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। अब तक इन 100 शहरों के लिए 46000 करोड़ रुपए का कार्य आवंटित हो गया है। दिसंबर तक लगभग एक लाख करोड़ तक की योजनाओं के लिए कार्य आवंटन किया जाएगा।

रांची में 657 एकड़ का एरिया बेस्ड डेवलपमेंट

रांची स्मार्ट सिटी कॉरपोरेशन लिमिटेड के सीईओ आशीष सिंहमार ने कहा कि शहरों में बढ़ती जनसंख्या के अनुपात में आधारभूत संरचना के विकास और नागरिकों को बेहतर सुविधा मुहैया कराने को लेकर इस योजना की परिकल्पना सरकार ने की थी, उस दिशा में चयनित शहर काम कर रहे हैं। रांची में एरिया बेस्ड डेवलपमेंट के तहत 657 एकड़ में एक नए शहर का निर्माण तो हो ही रहा है जहां अत्याधुनिक सुविधाएं मौजूद रहेंगी। वहीं दूसरी तरफ पुरानी रांची को भी और बेहतर बनाने की कोशिश में कई योजनाओं को लाने का प्रयास कर रहे हैं। सिटी प्रोजेक्ट के तहत हम पुराने शहर का भी कायाकल्प करेंगे, जिसमें ट्रैफिक से लेकर सड़कों के चौड़ीकरण और साइकिल शेयरिंग सिस्टम, पब्लिक ट्रांसपोर्ट, कमांड कंट्रोल कम्युनिकेशन सेंटर इत्यादि पर रांची स्मार्ट सिटी कॉरपोरेशन काम कर रहा है।